अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (AICC) के अनुसूचित जाति विभाग ने मध्यप्रदेश में अपनी नई राज्य कार्यकारिणी की घोषणा कर दी है। राष्ट्रीय अध्यक्ष राजेंद्र पाल गौतम द्वारा जारी सूची को कांग्रेस ने दलित समुदाय के बीच संगठन की पकड़ मजबूत करने की दिशा में बड़ा कदम बताया है। कुल 106 पदाधिकारियों वाली यह टीम प्रदेशभर में पार्टी की सक्रियता बढ़ाने की जिम्मेदारी संभालेगी।
विभिन्न स्तरों पर जिम्मेदारी
नई घोषित कार्यकारिणी में पदों का वर्गीकरण बेहद व्यापक है। जारी सूची के मुताबिक 23 उपाध्यक्ष, 30 महासचिव, 44 सचिव और 9 राज्य कार्यकारिणी सदस्य शामिल किए गए हैं। पदों का यह वितरण प्रदेश के हर संभाग और सामाजिक समूह को प्रतिनिधित्व देने के उद्देश्य से किया गया है। कांग्रेस का कहना है कि व्यापक संरचना से जमीनी स्तर पर काम की गति बढ़ेगी और संगठन की पहुंच अधिक प्रभावी होगी।
प्रतिनिधित्व देने का दावा
मध्यप्रदेश कांग्रेस SC विभाग के अध्यक्ष प्रदीप अहिरवार ने कहा कि यह कार्यकारिणी पूरी सोच-समझकर और प्रदेश की सामाजिक·भौगोलिक संरचना को ध्यान में रखते हुए बनाई गई है। अहिरवार का कहना है कि “इस सूची में हर संभाग और जिले के प्रतिनिधियों को शामिल किया गया है। हमारा उद्देश्य संगठन को मजबूत करना और दलित समाज के बीच कांग्रेस की नीतियों और विचारधारा को अधिक मजबूती से स्थापित करना है।”
तीखा रुख अपनाएगी टीम
अहिरवार ने स्पष्ट किया कि नई कार्यकारिणी दलितों पर हो रहे अत्याचार, भेदभाव और राज्य सरकार की उपेक्षात्मक नीतियों के खिलाफ मुखर होकर काम करेगी। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार में दलितों पर अन्याय के बढ़ते मामलों को लेकर कांग्रेस SC विभाग जनता के बीच सक्रिय अभियान चलाएगा। विभाग की कार्यशैली सामाजिक न्याय और समान अधिकार के मुद्दों पर पूरी तरह केंद्रित रहेगी।
अहिरवार ने बताया कि यह टीम पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी की सामाजिक न्याय पर आधारित विचारधारा को आगे बढ़ाने पर जोर देगी। कार्यकारिणी का लक्ष्य दलित समाज में शिक्षा, जागरूकता और अधिकार संरक्षण को बढ़ावा देना है। साथ ही राजनीतिक भागीदारी को बढ़ाने और समाज को सशक्त बनाने के लिए भी व्यापक कार्यक्रम लागू किए जाएंगे।
प्रतिनिधित्व बढ़ने से उत्साह
घोषित सूची में 9 महिलाओं को भी पद दिए गए हैं, जिसे कांग्रेस ने महिला प्रतिनिधित्व और दलित महिलाओं की राजनीतिक भागीदारी को मजबूत करने वाला कदम बताया है। पार्टी को उम्मीद है कि यह नई टीम गांवों, कस्बों और शहरों तक पहुंचकर दलित समुदाय के मुद्दों को सीधे सुनेगी और उन्हें मुख्यधारा की राजनीति से जोड़ेगी।
गति देने की तैयारी
पार्टी का दावा है कि 106 पदाधिकारियों वाली यह टीम आने वाले समय में न केवल संगठन को मजबूती देगी, बल्कि राज्य की राजनीति में दलित हितों की प्रभावी आवाज बनकर उभरेगी। कांग्रेस का मानना है कि यह कार्यकारिणी SC विभाग को नई ऊर्जा, नई रणनीति और नए नेतृत्व के साथ आगे ले जाने में अहम भूमिका निभाएगी।
