भारतीय वायुसेना ने रक्षा मंत्रालय को 114 नए राफेल लड़ाकू विमानों की खरीद के लिए आधिकारिक प्रस्ताव भेजा है। यह सौदा मीडियम रोल फाइटर एयरक्राफ्ट (MRFA) कार्यक्रम के तहत होगा और इसका अनुमानित मूल्य 2 लाख करोड़ रुपये से अधिक बताया जा रहा है। अगर यह डील फाइनल होती है तो यह दुनिया के सबसे बड़े रक्षा समझौतों में से एक होगी। भारतीय वायुसेना द्वारा भेजे गए इस प्रस्ताव (SoC) पर अब रक्षा मंत्रालय, वित्त मंत्रालय और अन्य विभाग विचार करेंगे। इसके बाद मामला रक्षा खरीद बोर्ड (DPB) और फिर रक्षा अधिग्रहण परिषद (DAC) के पास जाएगा। सभी मंजूरियां मिलने के बाद औपचारिक डील पर हस्ताक्षर किए जाएंगे।
भारतीय वायुसेना ने रक्षा मंत्रालय को 114 नए राफेल फाइटर जेट खरीदने का आधिकारिक प्रस्ताव भेजा है। यदि यह सौदा फाइनल होता है तो यह दुनिया के सबसे बड़े रक्षा समझौतों में से एक माना जाएगा और भारत की वायु शक्ति को और अधिक मजबूती प्रदान करेगा।
राफेल का नया F4 वैरिएंट
फ्रांस की डसॉल्ट एविएशन ने राफेल का नया एडवांस वैरिएंट F4 पेश किया है, जिसे “सुपर राफेल” कहा जा रहा है। इस आधुनिक संस्करण में पहले से बेहतर राडार, इलेक्ट्रॉनिक वारफेयर सिस्टम और नेटवर्क-सेंट्रिक वॉरफेयर क्षमता शामिल है। इसके अलावा इसमें सैटेलाइट कम्युनिकेशन और नए हथियार सिस्टम भी जोड़े गए हैं। तकनीकी रूप से यह फाइटर जेट्स की पांचवीं पीढ़ी के काफी करीब है, हालांकि इसमें पूरी तरह से “स्टील्थ” तकनीक मौजूद नहीं है। माना जा रहा है कि F4 जेट्स मिलने पर भारतीय वायुसेना को 6 से 7 नए स्क्वाड्रन की ताकत मिल सकती है, जबकि फिलहाल उसके पास केवल 2 स्क्वाड्रन राफेल के हैं।
राफेल F4 की बढ़ी वैश्विक मांग
दुनिया में राफेल F4 वैरिएंट की मांग लगातार बढ़ रही है। संयुक्त अरब अमीरात (UAE) पहले ही इस एडवांस लड़ाकू विमान की खरीद के लिए फ्रांस से समझौता कर चुका है और अब भारत भी उसी दिशा में कदम बढ़ा रहा है। अगर भारत यह डील करता है तो वह उन चुनिंदा देशों में शामिल हो जाएगा जिनके पास राफेल का सबसे आधुनिक वैरिएंट होगा। इस सौदे से भारतीय वायुसेना की संख्या और ताकत दोनों में इज़ाफा होगा और उसे आने वाले दशकों तक दुश्मनों पर स्पष्ट तकनीकी बढ़त मिलेगी। साथ ही यह चीन और पाकिस्तान के लिए भारत की सामरिक शक्ति का एक मजबूत संदेश भी साबित होगा।
जानें खासियत
- भारत ने 2016 में लगभग 59,000 करोड़ रुपए की डील के तहत फ्रांस से 36 राफेल F3R वैरिएंट खरीदे थे, जो 2020 से भारतीय
- वायुसेना में शामिल हैं। भारत के लिए इन लड़ाकू विमानों में 13 विशेष बदलाव किए गए हैं।
- इनमें लगी SCALP क्रूज मिसाइल 250 किलोमीटर से ज्यादा दूरी तक वार करने की क्षमता रखती है।
- इसका 450 किलोग्राम का वारहेड किसी भी दुश्मन के ठिकाने को तबाह कर सकता है।
- 2020 में लद्दाख विवाद के दौरान चीन के खिलाफ राफेल की तैनाती और पाकिस्तान पर ऑपरेशन सिंदूर में आतंकवादी ठिकानों पर हमले के लिए इसका इस्तेमाल किया गया था।
- दोनों ही मौकों पर राफेल की ताकत और विश्वसनीयता को साबित कर चुके हैं।