गुवाहाटी हार के बाद गौतम गंभीर पर बढ़ा दबाव, कोच ने याद दिलाई अपनी बड़ी जीतें

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Published On: 26 November 2025

गुवाहाटी में मीडिया के सवालों का सामना करते हुए भारतीय टीम के हेड कोच गौतम गंभीर शांत दिखे। 26 नवंबर को खेले गए दूसरे टेस्ट में भारत को साउथ अफ्रीका के खिलाफ 408 रनों से हार का सामना करना पड़ा, जिससे दो मैचों की सीरीज में क्लीन स्वीप हो गया। गंभीर पर दबाव लगातार बढ़ रहा है, क्योंकि वह पहले भारतीय कोच हैं जिन्हें घरेलू टेस्ट में लगातार दो व्हाइटवॉश झेलनी पड़ी। अपने पहले ही साल में उन्होंने भारत को न्यूजीलैंड से 0-3 और साउथ अफ्रीका से 0-2 की हार दिलाई। प्रेस कॉन्फ्रेंस में गंभीर ने कहा कि उनके भविष्य का फैसला बीसीसीआई करेगी।

भारतीय टीम के हेड कोच गौतम गंभीर पर दक्षिण अफ्रीका से 0-2 की टेस्ट सीरीज हार के बाद दबाव बढ़ गया है। घरेलू मैदान पर लगातार दो टेस्ट सीरीज में क्लीन स्वीप झेलने वाले पहले भारतीय कोच बनने के बाद, गंभीर ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि उनके भविष्य का फैसला बीसीसीआई करेगी।

बढ़ा दबाव

भारतीय टीम के हेड कोच गौतम गंभीर के कार्यकाल में भारत ने 7 में से 5 घरेलू टेस्ट मैच गंवाए हैं और कुल 19 मैचों में से 10 में हार का सामना किया है। गुवाहाटी टेस्ट में 408 रनों से हार के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में उनसे पूछा गया कि क्या वह अभी भी टीम के लिए सही विकल्प हैं। गंभीर ने कहा कि इस पर फैसला बीसीसीआई करेगी और पहले भी कहा था कि भारतीय क्रिकेट महत्वपूर्ण है, मैं नहीं। उन्होंने आलोचनाओं पर नाराजगी जताई और मीडिया पर तंज कसते हुए कहा कि हार पर ध्यान देने के बावजूद टीम की उपलब्धियों को नजरअंदाज किया जाता है।

पुरानी उपलब्धियां

भारतीय टीम के हेड कोच ने अपनी उपलब्धियों का हवाला देते हुए कहा कि उन्होंने इंग्लैंड में युवा टीम के साथ अच्छे नतीजे हासिल किए थे। उन्होंने याद दिलाया कि उनकी कोचिंग में भारत ने चैंपियंस ट्रॉफी और एशिया कप भी जीते। कोच ने यह भी कहा कि वर्तमान टीम नई और अनुभवहीन है, इसलिए सीखने में समय लगेगा, लेकिन खिलाड़ी पूरी मेहनत कर रहे हैं।

डरावना रिकॉर्ड

गौतम गंभीर के हेड कोच के कार्यकाल के दौरान भारतीय टीम ने कई निराशाजनक परिणाम दर्ज किए। पिछले साल भारत ने पहली बार इतिहास में बिना कोई टेस्ट मैच जीते न्यूजीलैंड के हाथों 3-0 से सीरीज हारी। इसके बाद ऑस्ट्रेलिया में बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी भी 1-3 से गंवाई गई, जिससे गंभीर को कोच पद से हटाने की मांग उठी। इस दौरान टीम में बड़े बदलाव भी हुए, जैसे आर अश्विन का सीरीज के बीच संन्यास लेना और विराट कोहली व रोहित शर्मा का टेस्ट क्रिकेट से रिटायर होना।

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