गाजा में इजराइल ने की भीषण बमबारी, 65 लोगों की हुई मौत; शवों की पहचान करना हुआ मुश्किल

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Published On: 13 September 2025

गाजा में इज़राइल की ओर से किए गए भीषण हवाई और तोपखाने हमलों ने शहर को हिला कर रख दिया। अचानक आसमान से बमों की बरसात शुरू होने से चारों तरफ अफरा-तफरी मच गई और लोग अपनी जान बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे। इस हमले में अब तक 65 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है, जिनमें एक ही परिवार के 14 सदस्य भी शामिल हैं। हालात इतने भयावह थे कि मलबे में दबे शवों की पहचान करना भी बेहद मुश्किल हो गया। अल जज़ीरा की रिपोर्ट में बताया गया कि पूरा इलाका खंडहर में तब्दील हो चुका है और लोग दहशत में हैं।

गाज़ा पर इज़राइल की ओर से किए गए भीषण हवाई और तोपखाने हमलों ने हालात बेहद भयावह बना दिए। अचानक हुए इन हमलों से गाज़ा की नींद टूटी और चारों ओर अफरा-तफरी मच गई। अब तक की जानकारी के अनुसार इस हमले में 65 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें एक ही परिवार के 14 सदस्य भी शामिल हैं।

इज़राइल ने किया हमला

गाज़ा सिटी और इसके उत्तरी इलाकों पर इज़राइल के हवाई और तोपखाने से किए गए भीषण हमलों ने कई आवासीय क्षेत्रों को खंडहर में बदल दिया। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, सबसे ज्यादा तबाही अत्त-तवाम और दराज इलाकों में हुई, जहां घर पूरी तरह मलबे में बदल गए। इन हमलों में केवल हवाई कार्रवाई ही नहीं बल्कि तोपों से भी भारी गोलाबारी की गई, जिससे दर्जनों इमारतें ढह गईं और गाज़ा के उत्तरी हिस्सों में व्यापक विनाश का नजारा देखने को मिला।

बच्चे की मौत

गाज़ा सिटी के दराज इलाके में हुए ड्रोन हमले ने एक और मासूम की जान ले ली। स्थानीय सूत्रों के मुताबिक इस हमले में एक बच्चे की मौत की पुष्टि हुई है, जबकि कई अन्य लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। घायलों को नज़दीकी अस्पतालों में भर्ती कराया गया है, लेकिन सीमित संसाधनों और लगातार बढ़ते दबाव के कारण उनका इलाज चुनौतीपूर्ण बना हुआ है।

एक हफ्ते में 500 ठिकाने

इज़राइली डिफेंस फोर्स ने सोशल मीडिया पर बताया है कि बीते एक सप्ताह में उसने गाज़ा में 500 से अधिक ठिकानों को निशाना बनाया। आईडीएफ का कहना है कि इन कार्यवाहियों का लक्ष्य गाज़ा के कथित आतंकवादी नेटवर्क को समाप्त करना है और क्षेत्र में नियंत्रण सुनिश्चित करने के लिए लगभग दस लाख लोगों को वहां से हटाना है।

13 लाख लोग अब भी मौजूद

गाज़ा के सरकारी मीडिया ऑफिस के अनुसार, इज़राइल की ओर से लगातार हमलों और पलायन के दबाव के बावजूद उत्तरी गाज़ा और गाज़ा सिटी में करीब 13 लाख लोग अब भी डटे हुए हैं। ये नागरिक अपने घरों को छोड़ने के लिए तैयार नहीं हैं और मौजूदा हालात में वहीं रहकर जिंदगी गुजारने का फैसला कर चुके हैं।

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