भोपाल | MP के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने जोधपुर प्रवास के दौरान राजस्थान के उद्योगपतियों से मुलाकात कर उन्हें मध्यप्रदेश में निवेश के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने कहा कि फर्नीचर और टिंबर उद्योग के लिए मध्यप्रदेश की वन संपदा विशेष रूप से उपयोगी है, और राज्य सरकार इस क्षेत्र को विस्तार देने के लिए हरसंभव सहयोग प्रदान कर रही है।
कार्यक्रम की शुरुआत में राजस्थान के औद्योगिक संगठनों के प्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री डॉ. यादव का पुष्पगुच्छ भेंट कर स्वागत किया। बैठक सौहार्दपूर्ण और निवेशोन्मुख माहौल में संपन्न हुई।
इन लोगों ने लिया हिस्सा
जोधपुर में आयोजित बैठक में फर्नीचर, टिंबर और होटल व्यवसाय से जुड़े उद्यमियों ने हिस्सा लिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश में सागौन जैसे बहुमूल्य वन उत्पाद हैं, जो फर्नीचर उद्योग के लिए वरदान साबित हो सकते हैं। उन्होंने यह भी प्रस्ताव रखा कि राजस्थान और मध्यप्रदेश इस क्षेत्र में मिलकर काम कर सकते हैं।
औद्योगिक नीतियां लागू
मुख्यमंत्री ने उद्योग जगत को बताया कि फरवरी 2025 में भोपाल में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के दौरान प्रदेश में 18 नई औद्योगिक नीतियां लागू की गईं। इन नीतियों के तहत उद्योगों को भूमि, बिजली, कर में रियायत, और श्रम सुविधा जैसे अनेक प्रोत्साहन दिए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि इन नीतियों का लाभ उठाकर देशभर के कई निवेशक मध्यप्रदेश में उद्योग स्थापित कर चुके हैं।
आज जोधपुर, राजस्थान प्रवास के दौरान फर्नीचर निर्माण से जुड़े व्यापारियों और उद्यमियों के साथ विस्तार से चर्चा हुई। इस अवसर पर माननीय उपमुख्यमंत्री श्री @rshuklabjp जी भी उपस्थित रहे।
मध्यप्रदेश घने और समृद्ध वनों से आच्छादित अनुपम प्रदेश है, जहां 33% वन क्षेत्र है, जो देश का 9%… pic.twitter.com/CnSu2z0O2r
— Dr Mohan Yadav (@DrMohanYadav51) July 9, 2025
डॉ. यादव ने बताया कि प्रदेश में अब तक केवल 5 मेडिकल कॉलेज थे, लेकिन उनकी संख्या बढ़ाकर 36 की जा चुकी है और आगामी 2 वर्षों में यह संख्या 50 तक पहुंच जाएगी। निजी क्षेत्र को मेडिकल कॉलेज खोलने के लिए रियायती दर पर भूमि और अन्य सुविधाएं दी जा रही हैं। उन्होंने कहा कि चिकित्सा, शिक्षा, पर्यटन, रियल एस्टेट और ई-मोबिलिटी जैसे क्षेत्रों में निवेश की अपार संभावनाएं हैं।
उद्योगपतियों से CM का आग्रह
मुख्यमंत्री ने राजस्थान के उद्योगपतियों से आग्रह किया कि वे मध्यप्रदेश में उद्योग लगाएं। सरकार उन्हें हर संभव सहयोग, अनुकूल नीतियाँ और बुनियादी ढाँचा उपलब्ध कराएगी। उन्होंने उद्योग और रोजगार वर्ष 2025 के अंतर्गत आयोजित कॉन्क्लेव और रोड शो की जानकारी भी साझा की, जो प्रदेश में औद्योगिक वातावरण को सुदृढ़ कर रहे हैं।
ये लोग रहे मौजूद
बैठक के दौरान राजस्थान के उद्योगपतियों ने भी विभिन्न सुझाव दिए, जिन्हें मुख्यमंत्री ने गंभीरता से लिया। इस अवसर पर मध्यप्रदेश के उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ला, मुख्यमंत्री कार्यालय के अपर मुख्य सचिव नीरज मंडलोई, वन विभाग के अपर मुख्य सचिव अशोक वर्णवाल और अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
